वहीं एस.एच.ओ देहरा कुलदीप कुमार की मामले की पुष्टि करते हुये कहा कि आरोपी पर मामला दर्ज कर हिरासत में लिया गया है ।
वहीं एस.एच.ओ देहरा कुलदीप कुमार की मामले की पुष्टि करते हुये कहा कि आरोपी पर मामला दर्ज कर हिरासत में लिया गया है ।
प्रदेश किसान कांग्रेस कमेटी सोशल मीडिया के कोऑर्डिनेटर जीवन धीमान ने कहा है कि मोदी सरकार देश के लोकतांत्रिक इतिहास की पहली ऐसी सरकार है जिसमें लोग लाचार हैं, हर तरफ हाहाकार है और हालात सरकार के काबू से बाहर हैं। आज यहां जारी एक बयान में जीवन धीमान ने कहा कि जो भाजपाई यह दावे करते नहीं थकते थे कि मोदी सरकार में भारत विश्व शक्ति बनने की ओर अग्रसर है, आज उन्हीं की हुकूमत में देश की अर्थव्यवस्था पाताल में चली गई है। गरीब आदमी और गरीब होता जा रहा है और उसके लिए 2 जून की रोटी जुटाना मुश्किल हो गया है। गरीबी रेखा से नीचे आने वालों की संख्या लगातार बढ़ती जा रही है।
उन्होंने कहा ताजा सर्वेक्षण के आंकड़े बताते हैं कि मोदी शासन के दौरान देश के शहरी क्षेत्रों में 20 प्रतिशत और ग्रामीण क्षेत्रों में 15 प्रतिशत आबादी गरीबी रेखा की चपेट में आ गई है, जो एक चिंताजनक स्थिति है। उन्होंने कहा मोदी सरकार अपने वायदे के अनुरूप ना तो देश के दो करोड़ युवाओं को प्रतिवर्ष नौकरी दे पा रही है और ना ही महंगाई पर नियंत्रण रख पा रही है। उन्होंने कहा नई नौकरियां मिलना तो दूर लाखों युवा मोदी सरकार की गलत नीतियों के चलते बेकार होकर घर बैठ गए हैं और डिप्रेशन का शिकार हो रहे हैं। उन्होंने कहा कि यह मोदी सरकार की माया है कि अपने हकों के लिए आज किसान और मजदूर सड़कों पर हैं। देश की परिसंपत्तियां बेची जा रही है। देश को चंद पूंजीपति घरानों के हाथों गिरवी रख दिया गया है। महामारी के इस दौर में लोगों को स्वास्थ्य सुविधाएं भी हासिल नहीं हो रही है।
देश में कहीं लोग ऑक्सीजन की कमी से मर रहे तो कहीं भुखमरी से। कहीं अस्पताल में बेड नहीं मिल रहे तो कहीं दवाइयां नहीं मिल रही। देश में त्राहि-त्राहि मची है और सरकार ने धृतराष्ट्र की तरह आंखों पट्टी बांध ली है। जीवन धीमान ने कहा कि मोदी सरकार को भाषण बाजी छोड़कर जमीनी हकीकत समझना चाहिए। उन्होंने कहा कि आज स्थिति यह है कि रोम जल रहा है और नीरो चैन की बंसी बजा रहा है। जीवन धीमान ने कहा कि आज अरबों रुपए की लागत से बनने वाले संसद भवन और भाजपा कार्यालयों के निर्माण से देश का भला होने वाला नहीं है। न ही गरीब को इससे कुछ लेना देना है। मोदी सरकार को जुमलेबाजी छोड़कर देश की गिरती अर्थव्यवस्था संभालनी चाहिए और आम आदमी का दर्द व पीड़ा समझनी चाहिए।
राज्यपाल ने आज राजभवन में विश्व रेडक्राॅस के अवसर पर प्रदेश रेडक्राॅस द्वारा कोविड-19 मरीजों के लिए वितरित की जाने वाली स्वच्छता किट और अन्य सामग्री वाली रेडक्राॅस वेन को भी झण्डी दिखाकर रवाना किया। राज्य रेडक्राॅस अस्पताल कल्याण शाखा की अध्यक्षा डाॅ. साधना ठाकुर भी इस अवसर पर उपस्थित थी।
विश्व रेडक्राॅस दिवस हर वर्ष 8 मई को रेडक्राॅस के संस्थापक जीन हेनरी ड्यूनेंट की जयंती के उपलक्ष्य पर मनाया जाता है। इस अवसर पर राज्यपाल और डाॅ. साधना ठाकुर ने रेडक्राॅस कोष के लिए अंशदान भी किया। राज्यपाल ने कहा कि सुरक्षा और सहायता की आवश्यकता महसूस करने वाले सभी लोगों के प्रति सार्वभौमिक समन्वय की भावना महत्त्वपूर्ण है ताकि मानव पीड़ा को कम किया जा सके। उन्होंने कहा कि यह दिन हमें संकट में फंसे लोगों की करूणा और दया भाव से मदद करने की हमारी जिम्मेदारी की याद दिलाता है। उन्होंने महामारी के दौरान राज्य रेड क्राॅस सोसाइटी द्वारा लोगों की सहायता करने के प्रयासों की सराहना की और खुशी व्यक्त की कि जिला स्तर पर रेड क्राॅस की समितियों द्वारा इस दिशा में अच्छा कार्य किया जा रहा है।
विश्व रेडक्राॅस दिवस पर शुभकामनाएं देते हुए उन्होंने कहा कि इस वर्ष रेडक्राॅस का थीम है ‘यस टूगेदर वी आर अनस्टोपेबल’। उन्होंने रेडक्राॅस की सभी जिला शाखाओं के प्रयासों की सराहना करते हुए कहा कि बिलासपुर में बच्चों और वरिष्ठ नागरिकों पर विशेष ध्यान देना, चम्बा में आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के अन्तर्गत आइएजी की शुरूआत और हमीरपुर रेड क्राॅस शाखा में ऐप आधारित सुविधा जैसी कई पहल की गई है। इसी प्रकार राज्यपाल ने कोविड मरीजों की सुविधा के लिए मोबाइल वेन की सुविधा प्रदान करने के लिए कांगड़ा शाखा और कुल्लू कार्यालय द्वारा सभी स्वयं सहायता समूहों को एक मंच पर लाने की भी सराहना की। उन्होंने किन्नौर जिला द्वारा सामुदायिक सहयोग से क्षमता वृद्धि करना और मण्डी जिला द्वारा पंचायत स्तर पर एसइआरवी सेवकों के माध्यम से समूहों का गठन करने की सराहना की। उन्होंने कहा कि शिमला जिला में लोगों के लिए विभिन्न प्रकार की सहायता सेवाएं चलाई जा रही हैं, सिरमौर जिला में रीति-रिवाज द्वारा अन्तिम संस्कार और ऊना जिला में स्वास्थ्य नियन्त्रण कक्ष स्थापित करना अन्यों के लिए बेहतर उदाहरण है जो अति प्रशंसनीय है।
राज्यपाल ने कहा कि हम एक दूसरे से सीख ले सकते हैं और अपने प्रयासों में वृद्धि कर सकते हैं। हमें अपने प्रयासों को जारी रखना चाहिए और कोरोना के बढ़ते हुए मामलों को देखते हुए स्वैच्छिक सहयोग को बढ़ाना चाहिए। कोरोना के मरीजों के लिए और अधिक स्वास्थ्य विशेषज्ञों और आॅक्सीजन युक्त बिस्तरों और समर्पित टीमों की आवश्यकता है।
उन्होंने कहा कि इस महामारी के दौरान स्वास्थ्य प्रणाली को सुदृढ़ करने के लिए हमें अधिकतम सेवानिवृत स्वास्थ्य कर्मियों और पूर्व सैनिकों की सेवाएं लेनी चाहिए। इस कार्य में शिक्षकों और विद्यार्थियों की भी सेवाएं ली जा सकती हंै।
इस अवसर पर रेडक्राॅस की अध्यक्षा ने कहा कि महामारी के इस कठिन दौर में रेडक्राॅस महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकता है, जिसके लिए राज्य स्तर पर ठोस प्रयास किए जाने चाहिए। उन्होंने महामारी से निपटने के लिए पहले से ही तैयारी करने पर बल दिया। उन्होंने कहा कि रेडक्राॅस के माध्यम से डाॅक्टरों और विशेषज्ञों का एक पैनल तैयार किया जा रहा है, जो कोरोना मरीजों और अन्य लोगों को परामर्श सेवाएं प्रदान करेगा।
उन्होंने कहा कि पंचायती राज संस्थाओं को शामिल कर ग्रामीण स्तर पर अधिक कार्य करने की आवश्यकता है। उन्होंने ’एक्शन ग्रुप’ के माध्यम से स्वयंसेवी सेवाओं के लिए मंडी जिला रेडक्राॅस की पहल की सराहना की। उन्होंने कहा कि रेडक्राॅस के स्वयंसेवी हर स्तर पर सक्रिय रूप से कार्य कर रहे हंै और भविष्य में अधिक प्रभावी ढंग से कार्य करने के प्रयास किए जाएंगे, ताकि कोरोना महामारी के खिलाफ लड़ाई में सफलता हासिल की जा सके।
राज्यपाल के सचिव और राज्य रेडक्राॅस के महासचिव राकेश कंवर और राज्य रेडक्राॅस के सचिव पी.एस. राणा भी इस अवसर पर उपस्थित थे।
अनुराग ठाकुर ने कहा है कि मोदी सरकार कोरोना आपदा की इस घड़ी में देशवासियों की हरसम्भव मदद करने के लिए प्रतिबद्ध है ।कोरोना मरीज़ों के परिजनों को उपचाराधीन मरीज़ों के इलाज में पेमेंट संबंधी समस्या लगातार हमारे ध्यान में लाई जा रही थी। इसे दृष्टिगत रखते हुए वित्त मंत्रालय ने सभी स्वास्थ्य संस्थानों जैसे निजी अस्पताल, कोविड सेंटर, डिस्पेंसरी, नर्सिंग होम समेत सभी मेडिकल सेंटर को अब दो लाख रुपए से ज्यादा की कैश पेमेंट ले सकने संबंधी आदेश जारी कर दिया है। यह छूट 31 मई तक लागू रहेगी। दो लाख रुपए से ऊपर की कैश पेमेंट के लिए आधार कार्ड या पैन कार्ड देना होगा। मरीज का विवरण, भुगतानकर्ता का पैन या आधार, मरीज और भुगतानकर्ता के बीच रिश्ते की जानकारी लेकर अस्पताल दो लाख रुपए से ज्यादा की कैश पेमेंट ले सकेंगे। अस्पताल में भर्ती कोरोना मरीज और उनके रिश्तेदारों को पेमेंट को लेकर हो रही समस्याओं को दूर करने के लिए हमने यह निर्णय लिया है।
अनुराग ठाकुर ने कहा है कि आयकर कानून की धारा-269ST के अंतर्गत देश में किसी भी व्यक्ति को 2 लाख रुपए से ज्यादा के नकद लेनदेन को प्रतिबंधित करती है।मगर महामारी के इस समय में इलाज करा रहे लोगों को इस क़ानूनी बाध्यता के चलते किसी प्रकार की समस्या का सामना ना करना पड़े इसलिए वित्त मंत्रालय द्वारा यह कदम उठाया गया। वित्त मंत्रालय के अधीनस्थ केंद्रीय अप्रत्यक्ष कर और सीमा शुल्क बोर्ड (CBIC) ने कोविड संबंधी आयात से जुड़े सवालों के समाधान के लिए एक सहायता प्रकोष्ठ बनाया है, ताकि सीमा शुल्क विभाग से ऐसे सामान की त्वरित निकासी हो सके जिसके त्वरित व सकारात्मक परिणाम हमें मिले हैं।वित्त मंत्रालय पूरी गम्भीरता के साथ प्रधानमंत्री जी के निर्देशों का पालन करते हुए कोरोना से राहत देने के लिए सभी ज़रूरी कदम उठा रहा है।
मनकोटिया ने स्वाल दागते हुए पूछा कि जसवां-प्रागपुर और देहरा में कांग्रेस की बनाई हुई सड़कों में रि-टायरिंग, विस्तारीकरण, चौड़ा करने के झूठे बोर्ड लगाने के सिवाए बीजेपी ने यहां पर किया ही क्या है?
मनकोटिया ने रवि जी से प्रश्न किया कि क्या यह सच्चाई नहीं है कि हमीरपुर, बिलासपुर, ऊना के लिए अनुराग ठाकुर ने ऑक्सीजन प्लांट दे दिए पर देहरा के लिए ऑक्सीजन प्लांट नहीं दिया, इस तरह का सौतेला व्यवहार देहरा सब डिवीजन के साथ क्यों? ऑक्सीजन के भरे हुए सिलेंडर दिल्ली से हमीरपुर अस्पताल भेज दिए लेकिन देहरा अस्पताल में क्यों नहीं। आगे रविंद्र सिंह रवि से पूछा कि वे बताएं कि अनुराग ठाकुर तीन बार यहां से सांसद बन चुके हैं पर देहरा के लिए आज तक क्या दिया । सम्माननीय विप्लव ठाकुर द्वारा किए गए विकास और अनुराग ठाकुर, रविंद्र सिंह रवि द्वारा देहरा सब डिवीजन की गई दुर्गति पर , बहस करने को हम किसी भी मंच पर तैयार हैं। आज देहरा और जसवां-प्रागपुर का हर गांव विप्लव ठाकुर द्वारा किए कामों की गाथा बताता है, हर घर कांग्रेस के सहयोग की चर्चा करता है , परंतु रविंद्र सिंह रवि जी अनुराग ठाकुर द्वारा एक देहरा को छोड़कर हमीरपुर बिलासपुर तथा ऊना के लिए दिए गए ऑक्सीजन प्लांट की प्रशंसा क्यों कर रहे हैं। इससे तो यही प्रमाणित होता है रवि जी बाहर वाले होने की वजह से इनका देहरा से कोई लगाव नहीं है। पहले कोई नहीं बोलता था कि "देहरा कोई नहीं तेरा" । जबसे रवि जी देहरा आए तब से यह कहावत शुरू हुई है।