पूर्व कल्याण बोर्ड के उपाध्यक्ष सुरेंद्र मनकोटिया ने कहा कि
मुख्यमंत्री जी आपने आज पहली बार बिल्कुल सच बोला कि 98% उद्यौगिक इकाइयां यानी मालिक होंगे लाभान्वित।
98℅ लोग नहीं।
सरमायेदारों को और तगड़ा बनाते जाओ जनाव। इकाइयां बड़े लोगों की और ऋण मोदीजी देंगे। वाह क्या डबल ईंजन सरकार है।
अभी तक 3 पैकेज दे दिए पर पता एक का भी नहीं चला।
अच्छा तरीका खोजा मोदीजी ने। उद्योगों को ऋण दो, फिर वो NPA बन जाएगा। वापिस करने का झंझट ही नहीं। मरेगा कौन? किसान, बागवान, मजदूर, गरीब क्योंकि जब इन के पास पैसा ही नहीं होगा तो खरीदेगा कौन?
आखिर में वही होगा, जैसा नीरव मोदी का ऋण NPA बना। पैसा बड़ों-बड़ों की जेब म़ें , वापिस करने की कोई जरुरत नहीं।
ऋण (मर कर भी) वापिस कौन करेगा? बोझ तले कौन दबेगा? वही किसान, बागवान, मजदूर, गरीब, दुकानदार, कामगार।
अरे जनाव सच में आर्थिकी और विकास को पतड़ी पर लाना है तो इस पैसे से इनका लोन माफ करो न कि उद्योगों का।
ऊपर उठाना है तो गरीबों को उठाओ न कि अमीरों को।
और इस पैसे को उद्योगों को देकर पानी की तरह न बहाओ, यह आपका पैसा नहीं, यह हम-सब द्वारा टैक्स के रुप में दिया गया पैसा है। इसे किसान, बागवान, मजदूर, गरीब, दुकानदार, कामगार में बांटो ताकि मांग पैदा हो। इस पैसे में इन सब की हिस्सेदारी है।
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